शरीर में कैसे बनता है यूरिक एसिड

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यूरिक एसिड नार्मल स्तर, लक्षण, इलाज और खाने का सुझाव
हमारा शरीर तमाम कोशिकाओं और तंतुओं से मिलकर बना है, जो रात दिन हमारे शरीर को चलाने में मदद करते हैं। शरीर के सारे महत्वपूर्ण अंग जैसे दिल, फेफड़े, दिमाग और किडनी अपने अलग-अलग काम करत हैं। इसमें किडनी शरीर में सबसे महत्वपूर्ण काम करती हैं, वे शरीर में बनने या भोजन के माध्यम से जाने वाले अनेक कैमिकल्स, खनिज और बेकार पदार्थों को छानकर पेशाब के द्वारा बाहर निकाल देती हैं। इन्हीं में एक कैमिकल होता है यूरिक एसिड (नतपब ंबपक), इसकी मात्रा अगर शरीर में बढ़ने लगती है तो किडनी के लिए इसे छानकर शरीर से बाहर निकालना मुश्किल हो जाता है।
क्या होता है यूरिक एसिड
यूरिक एसिड एक कार्बनिक यौगिक है जो हाईड्रोजन, ऑक्सीजन और नाईट्रोजन जैसे तत्वों से मिलकर बनता है। इसका आणविक सूत्र ब्5भ्4छ4व्3 है, और आणविक वजन 168 डालटन है। यूरिक एसिड हमारे शरीर में बनने वाला एक कैमिकल होता है, जो शरीर में बनने के साथ-साथ भोजन के जरिए भी शरीर में प्रवेश करता है। यह एसिड रक्त के माध्यम से किडनियों तक पहुँचता है, किडनी इसका शरीर की जरूरत के हिसाब से संतुलन करने के बाद जरूरत से अधिक एसिड को पेशाब के माध्यम से बाहर निकाल देती हैं।
शरीर में कैसे बनता है यूरिक एसिड
शरीर में यूरिक एसिड प्यूरीन नामक यौगिकों से बनता है। शरीर में प्यूरीन के दो मुख्य स्रोत हैंरू भोजन और मृत कोशिकाएँ। अधिकांश यूरिक एसिड पेशाब और मल त्याग में बाहर निकल जाता है।
रक्त में यूरिक एसिड की सामान्य मात्रा कितना होना चाहिए
रक्त में यूरिक एसिड का पता लगाने के लिए विशेषज्ञ मरीज को रक्त परीक्षण के लिए कह सकते हैं, जिसके माध्यम से पता लग जाता है कि मरीज के रक्त में यूरिक एसिड का स्तर क्या है। यह परीक्षण बहुत ही सरल होता है, इसकी रिपोर्ट जल्द ही आ जाती है। इस जाँच में यूरिक एसिड को मिलिग्राम (उह) और रक्त को डिकिलीटर (कस्) में मापा जाता है।
महिलाओं और पुरुषों के सामान्य यूरिक एसिड के मानक भिन्न हैं, सामान्य तौर पर अगर मरीज के यूरिक एसिड का स्तर इन मानकों से ऊपर है तो उसके लिए विशेषज्ञ से जरूर मिलें-महिलाओं का 6 एमएल से ज्यादा न हो व पुरूषों का 7 एमएल से ज्यादा न हो
यूरिक एसिड के बढ़े हुए स्तर का वैज्ञानिक नाम हाइपरयुरिसीमिया है।
अगर मरीज के रक्त में यूरिक एसिड का स्तर उपर्युक्त मानकों से अधिक पाये जाने पर कई समस्याएँ हो सकती हैं जैसे- रक्त में यूरिक एसिड का स्तर बढ़ने से शरीर में इसके क्रिस्टल बन जाते हैं और वे शरीर के जोड़ जैसे हाथ-पैरों की उँगलियों के जोड़ों को प्रभावित कर गाउट (हवनज) जैसी बीमारी का रूप ले लेते है। इसके अलावा मरीज को यूरिक एसिड के बड़े हुए स्तर से किडनी की बीमारी जैसे किडनी की पथरी आदि हो सकती है। इसके अलावा अगर मरीज अत्याधिक प्यूरीन वाले खाद्य पदार्थों का सेवन कर रहा है तो यूरिक एसिड का बढ़ना सामान्य हो सकता है। इसके लिए विशेषज्ञ मरीज के आहार में बदलाव करने की सलाह देता है।साथ ही विशेषज्ञ मरीज के लक्षणों को देखकर उसे यूरिक एसिड के साथ और भी जाँच कराने को कह सकता है। इससे विशेषज्ञ को मरीज की बीमारी को बारीकी से समझने का मौका मिलता है साथ ही वह इलाज की रूपरेखा भी इन्ही जाँचों के आधार पर तय करता है।
क्या हैं यूरिक एसिड (हाइपरयुरिसीमिया) का स्तर बढ़ने के कारण
यूरिक एसिड का स्तर महिलाओं की तुलना में पुरुषों में अधिक बढ़ता है। इसके अलावा यदि आप मांसाहारी हैं तो शाकाहारियों की तुलना में आपको यूरिक एसिड बढ़ने का खतरा अधिक होता है। ज्यादातर रक्त में यूरिक एसिड का स्तर तब बढ़ता है जब शरीर में प्यूरीन अधिक बनता है या भोजन के माध्यम से अधिक प्यूरीन ग्रहण किया जाता है, इसके अलावा किडनी की कार्यक्षमता कम होने के कारण भी यूरिक एसिड के स्तर में बढ़ोत्तरी होती है। कभी-कभी दोनों स्थितियाँ एक साथ हो जाती हैं। यूरिक एसिड बढ़ने के कारण निम्नलिखित हैं-
मरीज का वजन अधिक होना या मोटापा
मूत्रवर्धक दवाएँ लेना (कपनतमजपबे)
अधिक प्यूरीन वाले खाद्य पदार्थों का सेवन करना और शराब का सेवन करना
अनुवांशिक समस्याएँ (पदीमतपजमक जमदकमदबपमे)
हाइपोथायरायडिज्म भ्लचवजीलतवपकपेउ (नदकमतंबजपअम जीलतवपक)
बेकार पदार्थ छानने की किडनी की कार्यक्षमता कम हो जाना या किडनी विफल (ापकदमल ंिपसनतम) हो जाना
कीमो थैरिपि जैसे इलाज जिनसे शरीर में मृत कोशिकाओं की बढ़ोत्तरी होती है।
कैंसर जैसी बिमारियों में शरीर में कोशिकाओं के बढ़ने से यूरिक एसिड बढ़ जाता है
डा0 प्रशात धीरेन्द्रा

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