सड़क पर उतरा जनआक्रोश,सरकार के खिलाफ नारेबाजी ,बच्चों ने कहा शराब की दुकान खोलने से तो अच्छे स्कूल खोलते
सरकार जहां बेहतर शिक्षा देने मे असमर्थ हो रही है वही गांव -गांव में शराब के ठेके खोल रही है स्कूलों में न शिक्षक है न ही बच्चों के बैठने के लिए कोई व्यवस्था है
शराब के ठेके खोलने से गांव का पूरा माहौल बिगड़ गया है जो लोग मेहनत मजदूरी करते है उन्हें आसानी से शराब मिल जा रही है शाम को झूमते हुए घर पहुंच रहे है। घर पर बच्चें पिताजी का इंतजार करते है कि हमारे लिए अच्छी चीज लायेगें लेकिन पिता के गाली गलौच से बच्चे सहम कर एक कौने में छिप जाते है।
जिलाधिकारी ने कभी गांव में जाकर ऐसा माहौल देखा कभी नहीं ।
अल्मोड़ा । काफलीखान में शराब की दुकान बंद करने की मांग पर क्षेत्र की महिलाओं और बच्चों ने बाजार में जुलूस निकाला और धरना दिया। महिलाओं ने कहा कि शराब की दुकान खुलने से क्षेत्र का माहौल खराब हो रहा है।
अल्मोड़ा के काफलीखान में शराब की दुकान बंद करने की मांग पर क्षेत्र की महिलाओं और बच्चों ने बाजार में जुलूस निकाला और धरना दिया। महिलाओं ने कहा कि शराब की दुकान खुलने से क्षेत्र का माहौल खराब हो रहा है। वहीं बच्चों ने कहा कि हमें शराब नहीं अच्छी शिक्षा चाहिए।
पहाड़ में गांव -गांव शराब के ठैके खोलकर सरकार की मंशा है कि पहाड़ को उजाड़ने की न कि बसाने की
शनिवार को काफलीखान में शराब की दुकान खोलने से आक्रोशित तोला, मंगरू, सेला, काफलीखान की महिलाओं और बच्चों ने मुख्य बाजार में सरकार के खिलाफ नारे लगाते हुए जुलूस निकाला। बच्चे हमें शराब नहीं अच्छी शिक्षा चाहिए लिखी तख्ती लेकर रैली में शामिल हुए। रैली के बाद महिलाओं और बच्चों ने शराब की दुकान के पास धरना दिया और इसे बंद करने की मांग की। उन्होंने कहा कि शराब की दुकान खुलने से क्षेत्र में अराजकता का माहौल बन रहा है। गांवों के बीच शराब की दुकान खोलना बच्चों और अन्य लोगों को नशे के दलदल में धकेलने की कोशिश है।