एसओजी टीम के जाबांजों ने कपकोट अपहरण मामले का मास्टरमाइंड दिल्ली से किया गिरफ्तार

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एसओजी टीम के जाबाजों एसआइ कुंदन सिंह रौतेला, राजेश भट्ट, नरेंद्र गोस्वामी, राजेंद्र, गिरीश बजेली को नन्दा टाइम्स परिवार सलाम करती है जिन्होने दो मासूमों की जान अपहरण कर्त्ताओं के चुगुल से सुरक्षित परिजनों को सौंपा ऐसे जाबांजों को उचित सम्मान मिलना चाहिए ।

बागेश्वर । एसओजी की टीम ने कपकोट से दो किशोरों का अपहरण मामले के मास्टरमाइंड को दिल्ली के तिहाड़ जेल रोड से गिरफ्तार किया। अपहरण के सभी पांच आरोपित न्यायिक हिरासत में पहुंच गए हैं। बीते 8 सितंबर को कपकोट ब्लाक मुख्यालय से पांच युवकों ने दो किशोरों देवेंद्र सिंह और कृष्णा सिंह का अपहरण कर लिया था। फिरौती का काल आते ही अपहृत देवेंद्र के पिता हर सिंह ने कपकोट थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई।
अपहरणकर्ताओं ने परिजनों से दोनों किशोरों को छोड़ने के एवज में 6 लाख रुपए की फिरौती मांगी। अपहरणकर्ताओं ने अपहृत किशोर देवेंद्र के पास से एटीएम छीन झिरौली से 25 हजार निकाले। परिजनों ने अपहरणकर्ताओं को गूगल पे के जरिए तुरंत 37 हजार रुपए भेजे। मामले में तुरंत कार्रवाई करते हुए पुलिस ने 6 घंटों में ही चार आरोपितों को खैरना के पास से गिरफ्तार किया और दोनों किशोरों को सुरक्षित घर पहुंचाया। मामले का मास्टरमाइंड मोहित टाकुली फरार हो गया था। एसओजी की टीम उसकी तलाश में बागेश्वर से लेकर हल्द्वानी तक जगह-जगह दबिश दे रही थी।

अपहरणकर्ताओं ने परिजनों से दोनों किशोरों को छोड़ने के एवज में 6 लाख रुपए की फिरौती मांगी।

बीते दो दिन पूर्व एसओजी को टैक्निकल टीम के जरिए मुख्य आरोपित की लोकेशन दिल्ली होने का पता चला। जिसके बाद टीम दिल्ली उसको पकड़ने के लिए रवाना हुई। बीते मंगलवार 14 सितंबर को पुलिस ने मोहित टाकुली पुत्र चंचल सिंह निवासी ग्राम सूपी, कपकोट उम्र 19 वर्ष को सत्यम टैंट हाउस गली न- 4, जनकपुरी तिहाड़ जेल रोड नई दिल्ली से गिरफ्तार किया। बुधवार को आरोपित को कोर्ट में पेश कर न्यायिक हिरासत में अल्मोड़ा जेल भेज दिया है। आरोपित को पकड़ने वाली एसओजी टीम में एसआइ कुंदन सिंह रौतेला, राजेश भट्ट, नरेंद्र गोस्वामी, राजेंद्र, गिरीश बजेली मौजूद थे।

असल में अपहरणकर्ता पांचों युवक चरस की डील करने के लिए कपकोट पहुंचे थे। इनको चरस मोहित टाकुली दिलाने वाला था। चरस की डील भी हो गई थी। लेकिन बात नही बनने और नुकसान होने पर उन्होंने दोनों किशोरों का अपहरण कर लिया। अपहरण के बाद आरोपित गाड़ी से भाग निकले लेकिन मास्टरमाइंड मोहित टाकुली बीच रास्ते में ही गाड़ी से उतर गया। जिस तरह अपहरण की पूरी घटना को अंजाम दिया गया और फिरौती मांगी गई, उससे कहीं भी नही लग रहा है कि इतना बड़ा कांड पेशेवर तरीके से किया गया हो। इन युवकों का आपराधिक इतिहास भी नही है।

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